अध्याय 1
1 मैं पौलुस हूँ और मैं परमेश्वर की इच्छा से यीशु मसीह का प्रेरित बना हूँ। मैं और भाई तीमुथियुस आपको नमस्कार कर रहे हैं।
2 मैं कुलुस्सियों में रहने वाले यीशु मसीह में पवित्र और वफ़ादार भाइयों को लिख रहा हूँ।
3 हमारे पिता परमेश्वर और प्रभु यीशु मसीह की ओर से आपको अनुग्रह और शान्ति मिले। हम हमेशा आपके लिए प्रार्थना करते हैं और परमेश्वर को धन्यवाद देते हैं जो हमारे प्रभु यीशु मसीह का पिता है।
4 हमें पता चला है कि आप यीशु मसीह पर विश्वास करते हैं और परमेश्वर के सभी पवित्र लोगों से प्यार करते हैं।
5 जब आपने मसीह के बारे में अच्छी खबर सुनी तब आपने परमेश्वर के सच्चे वचन पर विश्वास किया। इसलिए आप पहले ही जान चुके हैं कि परमेश्वर ने आप के लिए स्वर्ग में अपनी विरासत तैयार की है। और आपको पूरा यकीन है कि आपको परमेश्वर की विरासत मिलेगी।
6 जिस दिन आपने मसीह के बारे में सच्चाई सुनी तब आप समझ गए कि परमेश्वर का अनुग्रह क्या है। फिर अच्छी खबर आपके अन्दर रहने लगी। अब आप यीशु पर विश्वास करते हैं और उसके बारे में अच्छी खबर को पूरी दुनियाँ में फैलाते हैं। यह परिणाम लाता है और बहुत से लोग मसीह के पास आते हैं। उनका विश्वास भी आपकी तरह बढ़ रहा है।
7 हमारे प्यारे भाई इपफ्रास ने आपको मसीह के बारे में अच्छी खबर का प्रचार किया। वह आपके बीच में काम करता है और वफादारी से मसीह की सेवा करता है।
8 उसने हमें बताया कि पवित्र आत्मा ने आप को प्रेम से भर दिया है।
9 उस समय से जब हमने यह सुना, हम नियमित रूप से आपके लिए प्रार्थना करते हैं। हम परमेश्वर से प्रार्थना करते हैं कि वह आपको इसका पूरा ज्ञान दे कि वह आपके जीवन में क्या करना चाहता है। परमेश्वर आपको सारी बुद्धि और आत्मिक समझ दे।
10 आपको उन मांगों के अनुसार जीना हैं जो प्रभु ने हमें दी हैं। हमेशा इस तरह से काम करें कि आप उसे खुश करें। अच्छे काम करें और आप देखेंगे कि वे परिणाम लाएंगे। परमेश्वर के ज्ञान में अधिक से अधिक बढ़ते जाएं।
11 प्रभु के पास सारी शक्ति और महिमा है। इसलिए आपको उसकी सारी शक्ति के साथ खुद को मजबूत करने के लिए उसके पास आना चाहिए। तब आप आनन्द से जीएंगे क्योंकि आप सहनशीलता और धीरज का विकास कर सकेंगे।
12 पिता परमेश्वर को धन्यवाद दें जिसने हमें अपनी विरासत को पाने का अधिकार दिया। हम परमेश्वर के उन सभी पवित्र लोगों के साथ इस विरासत को बाटेंगे जो ज्योति में जीते हैं।
13 परमेश्वर ने हमें अन्धकार से बचाया और अन्धकार ने हमारे ऊपर अपनी शक्ति खो दी। परमेश्वर हमें अपने राज्य में लाया जहाँ उसका प्यारा बेटा राज करता है।
14 जब परमेश्वर के बेटे ने अपना खून बहाया तब वह हमारी आज़ादी के लिए कीमत चुकाई और हमने पापों की माफ़ी पाई।
15 परमेश्वर का बेटा अनदेखे परमेश्वर की परछाई है। दुनियाँ को बनाने से पहले पिता ने अपने बेटे को जन्म दिया।
16 परमेश्वर ने वह सब कुछ बनाया जो स्वर्ग और पृथ्वी पर मौजूद है। उसने वह सब कुछ बनाया जो हम देख सकते हैं और जो हम नहीं देख सकते। उसने राजाओं के लिए देशों पर शासन करने का अधिकार बनाया। और उसने यह अधिकार लोगों को दिया। उसने दूसरों की अगुवाई करने के लिए शासकों को नियुक्त किया। परमेश्वर ने सब कुछ बनाया और उसने यह अपने लिए किया।
17 सब चीजों से पहले परमेश्वर मौजूद था और वह सारी सृष्टि को एक साथ थाम कर रखता है।
18 परमेश्वर का बेटा चर्च का सिर बन गया और चर्च उसका शरीर है। वह सब कुछ की शुरुआत है और वही पहला है जो मौत से जिलाया गया था। इसलिए वह हर चीज में पहला है।
19 और पिता इससे खुश है कि सब परिपूर्णता उस के बेटे में है।
20 परमेश्वर के बेटे ने क्रूस पर अपना खून बहाया। और परमेश्वर ने अपने बेटे के द्वारा स्वर्ग में और पृथ्वी पर मौजूद सभी को शान्ति दी। पिता ने अपने बेटे के द्वारा अपने साथ सभी लोगों का मेलमिलाप कर लिया।
21 आप परमेश्वर से बहुत दूर थे। आप बुरे काम कर रहे थे और आपके मन में परमेश्वर के लिए दुश्मनी थी।
22 जब मसीह का बाहरी शरीर क्रूस पर मर गया तब उसने अपनी मौत से चर्च को बनाया और इसे अपना शरीर कहा। उसने अपने शरीर में आपका परमेश्वर के साथ मेलमिलाप कराया। इसलिए आप परमेश्वर की उपस्थिति में हैं। और वह आपको पवित्र, निर्दोष और बिना किसी गलती के देखता है।
23 लेकिन आपको पूरी तरह से विश्वास करना है और शक नहीं करना। जब आपने मसीह के बारे में अच्छी खबर सुनी तब इससे आपको मजबूत आशा मिली। इस आशा को न खोना। धरती पर रहने वाले सभी लोगों को यह अच्छी खबर सुननी चाहिए। इसलिए मैं, पौलुस, मसीह के बारे में अच्छी खबर का प्रचार करने के लिए सेवक बन गया।
24 जब मसीह ने क्रूस पर दु:ख उठाया तब उसने चर्च को बनाया। और मैं भी आप के कारण दु:ख उठाता हूँ। लेकिन मैं आनन्दित हूँ कि मैं चर्च के कारण जो मसीह का शरीर है शारीरिक दु:ख उठाता हूँ। लेकिन मैं अपने दु:खों की तुलना मसीह के दु:खों से नहीं कर सकता।
25 मैं चर्च की सेवा करता हूँ और परमेश्वर का घर बनाता हूँ। परमेश्वर ने मुझे आपके फ़ायदे के लिए यह जिम्मेदारी दी है ताकि मैं परमेश्वर के वचन को पूरा करता हूँ।
26 सदियों से परमेश्वर के वचन में रहस्य छिपा था। और पिछली पीढ़ी के लोग इस रहस्य को नहीं जानते थे। लेकिन अब परमेश्वर ने इसको अपने पवित्र लोगों पर प्रकट किया।
27 और यही वह रहस्य है जिसे परमेश्वर अपने पवित्र लोगों को दिखाना चाहता था। परमेश्वर ने अन्यजाति लोगों को अपनी महिमा से अमीर बनाया। हे अन्यजाति लोगों, मसीह आप में रहता है। और बिल्कुल यकीन करें कि आप उसकी महिमा में प्रवेश करेंगे।
28 हम मसीह के बारे में प्रचार करते हैं और लोगों को सच्चाई की समझ की ओर लाते हैं। हम हर व्यक्ति को पूरी बुद्धि के साथ सिखाते हैं ताकि हर व्यक्ति यीशु मसीह में परिपक्व होता जाता है।
29 इसलिए मैं इतनी कड़ी मेहनत करता हूँ और अपनी सेवकाई में मुझे जिन कठिनाइयों का सामना करना पड़ता है उन्हें धीरज से सहता हूँ। और मैं पूरी तरह से मसीह की शक्ति पर भरोसा करता हूँ जो मेरे अन्दर शक्तिशाली रूप में काम करती है।
अध्याय 2
1 मैं चाहता हूँ कि आप यह जानें कि मुझे बहुत कठिनाइयों का सामना करना पड रहा है। लेकिन मैं प्रभु की सेवा करता जा रहा हूँ। मैं प्रार्थना करता हूँ कि मेरी सेवा आपके लिए और लौदीकिया में रहने वालों के लिए आशीष लाए। हालांकि आप में से कुछ लोग हैं जो मुझसे कभी नहीं मिले।
2 मैं चाहता हूँ कि आप एक दूसरे से प्यार करें। प्यार जोड़ता है और दिलों में शान्ति लाता है। मैं प्रार्थना करता हूँ कि पिता परमेश्वर मसीह के बारे में अपने रहस्य को आप पर प्रकट करे। मैं परमेश्वर से यह भी प्रार्थना करता हूँ कि आप पूरी तरह से और गहराई से इस रहस्य को समझ सकें।
3 मसीह में आपको सभी छिपे हुए खजाने मिलेंगे और वे आपको बुद्धि और ज्ञान देंगे।
4 मैं नहीं चाहता कि कोई आपको अपनी झूठी बातों से मना ले और आपको परमेश्वर की सच्चाई से भटकाए। इसलिए मैं आपको इसके बारे में बता रहा हूँ।
5 शरीर में मैं आपसे बहुत दूर हूँ लेकिन आत्मा में मैं आप के साथ हूँ। मैं देख सकता हूँ कि आप मसीह में मज़बूती से विश्वास करते हैं। और मुझे आनन्द है कि आपके साथ सब कुछ अच्छा है।
6 जब आप यीशु मसीह के पास आए तब आपने उसे अपना प्रभु बनाया। उसका अनुसरण करते रहें और जैसा वह करता है वैसा ही काम करें।
7 मसीह में गहरी जड़ पकड़ते और बढ़ते जाएं। आप जानते हैं कि धन्यवाद देना आपके विश्वास को मजबूत बनाता है। इसलिए जितना अधिक आप परमेश्वर को धन्यवाद देते हैं, आपका विश्वास उतना ही मजबूत होता जाता है।
8 हे भाइयों, दर्शनशास्र में दिलचस्पी मत लीजिए और बकवास पर विश्वास मत कीजिए। इन बातों के पीछे लोगों की परम्पराएँ और नियम हैं जो इस दुनियाँ के लोग बनाते हैं। यह पक्का कर लें कि आप वैसे ही जीते हैं जैसे मसीह सिखाता है।
9 परमेश्वर मसीह के शरीर में होकर आया और वह सिद्धता में मसीह के अन्दर रहता है।
10 आपके पास परमेश्वर की सिद्धता भी है क्योंकि आप मसीह में जीते हैं जो सभी आत्मिक शक्तियों और अधिकारों का मुखिया है।
11 हे अन्यजाति लोगों, आप परमेश्वर के हैं और आपका भी खतना हुआ है। लेकिन यह परमेश्वर था जिसने आप का खतना किया, मनुष्य ने नहीं। यह मसीह था जिसने आप का खतना किया लेकिन उसने आपके बाहरी शरीर को नहीं छुआ। मसीह ने आपके अन्दर के इंसान का खतना किया और आपके पापी स्वभाव को हटा दिया।
12 परमेश्वर ने अपनी शक्ति से मसीह को मरे हुओं में से जिलाया। जब आपने परमेश्वर की शक्ति पर विश्वास किया तब आपका बपतिस्मा हुआ। बपतिस्मा के समय आप पानी के नीचे गए और खुद को मसीह के साथ गाड़ दिया। फिर आप पानी से उपर आए और मसीह के साथ जिलाये गए।
13 आप पाप करते थे और आपके पापों ने आपको मार दिया। आपने अपना खतना नहीं किया और आप परमेश्वर के नहीं थे। लेकिन परमेश्वर ने हमारे सभी पापों को माफ़ किया और हमें मसीह के साथ जीवित कर दिया।
14 हमारे पापों की सूची ने हम पर दोष लगाया और हमें परमेश्वर का कर्जदार बना दिया। लेकिन मसीह ने हमारे पापों की सूची को क्रूस पर कीलों से ठोक दिया और इसे परमेश्वर तक जाने वाले हमारे रास्ते से हटा दिया।
15 मसीह ने शासकों और अधिकारियों को आत्मिक दुनियाँ में दुर्बल बना दिया। उसने खुले में उन्हें शर्मिंदा किया और विजयी होकर उन्हें क्रूस पर हराया।
16 यह ज़रूरी नहीं कि आप क्या खाते और पीते हैं। कोई फर्क नहीं पड़ता कि आप यहूदियों का कौन सा त्यौहार मनाते हैं। इससे कोई फर्क नहीं पड़ता कि आप नए महीने की शुरुआत को मनाते हैं और आप सब्त रखते हैं। उसके लिए कोई आप पर दोष न लगाए।
17 यहूदी रीति रिवाज भविष्य में क्या होगा इसकी छाया थी। और यह भविष्य आ चुका है जब मसीह बाहरी शरीर में होकर आया। अब आपको मसीह के पीछे चलना चाहिए और आपको यहूदी रीति रिवाजों को नहीं मानना चाहिए।
18 कुछ लोग अपनी झूठी दीनता दिखाते हैं और उनके पापी विचार उन्हें घमंडी बनाते हैं। वे दावा करते हैं कि उन्होंने स्वर्गदूतों को देखा इसलिए वे उनकी पूजा करते हैं। लेकिन उन लोगों पर विश्वास न नहीं करना चाहिए क्योंकि वे आपको धोखा देते हैं।
19 मसीह चर्च का सिर है और चर्च उसका शरीर है। लेकिन ऐसे लोग सिर के साथ जुड़े हुए नहीं हैं। मसीह पूरे शरीर को एक साथ रखता है। वह इसे जोड़ों से जोड़ता है और विभिन्न संबंधों के साथ इसे एक साथ रखता है। परमेश्वर चर्च को खिलाता है और मसीह का शरीर बढ़ता है।
20 इसलिए आप मसीह के साथ उन नियमों के लिए मर गए हैं जो लोग इस दुनियाँ में बनाते हैं। लेकिन आप ऐसे लोगों की तरह व्यवहार करते रहते हैं। आप अभी भी इन नियमों का पालन करते हैं जो कहते हैं,
21 “इसे न लें। इसे न खाएं। इसे न छूएं।”
22 लोग कुछ चीजों पर रोक लगाते और नियम बनाते हैं लेकिन समय के साथ ये शिक्षाएँ मर जाती हैं।
23 ऐसी शिक्षाएँ बुद्धि से भरी हुई लग सकती हैं क्योंकि लोग अपने धार्मिक उत्साह का दिखावा करते हैं। वे झूठी दीनता में जीते हैं और वे अपने शरीरों को थका देते हैं। लेकिन रोक और नियम किसी व्यक्ति की बुरी इच्छाओं पर विजय नहीं पा सकते।
अध्याय 3
1 आप मसीह के साथ जिलाए गए हैं जो परमेश्वर के दाहिने ओर आदर की जगह पर स्वर्ग में बैठा है। इसलिए आपको स्वर्ग की बातों पर ध्यान देना चाहिए।
2 आत्मिक बातों के बारे में सोचें, न कि सांसारिक चीजों के बारे में।
3 आप पापी जीवन के लिए मर गये। आपने परमेश्वर में इस दुनियाँ से सुरक्षित शरण पाई है। और अब आप मसीह के साथ नया जीवन जीते हैं।
4 जब वह पृथ्वी पर आएगा तब आप भी उसके साथ उसकी महिमा में आएंगे।
5 इसलिए अपने पापी स्वभाव को मार डालें। गलत यौन संबंधों, बुरी इच्छाओं, लतों और गन्दी वासना को मारना होगा। अपने लालच को मार डालें जो इन्सान को मूर्तियों जैसी चीजों की आराधना करने के लिए अगुवाई करता है।
6 परमेश्वर उन पर अपना क्रोध भड़काएगा जो पाप करते रहते हैं और उससे दुश्मनी रखते हैं।
7 पहले आप दूसरे लोगों की तरह जीवन जीते थे। आप भी वैसे ही पाप करते थे जैसे सभी लोग करते हैं।
8 लेकिन अब आपको जीने का पुराना तरीका छोड़ना होगा। गुस्सा न करें और अति क्रोधित न हों। बुरे कामों में हिस्सा न लें। एक दूसरे का अपमान न करें और गन्दे शब्द न बोलें।
9 एक दूसरे से झूठ न बोलें। अपने अन्दर के इंसान से पापी स्वभाव को पुराने कपड़ों की तरह उतार दें। और अपने पापी स्वभाव के पास वापस न जाएं।
10 परमेश्वर के नए स्वभाव को पहन लें। परमेश्वर को जानें और सृष्टिकर्ता की तरह बनने के लिए अपने अन्दर के इंसान को नया बनाएं।
11 अब यह महत्वपूर्ण नहीं कि आप अन्यजाति लोग हैं या यहूदी। खतना किए हुए व्यक्ति और खतनारहित व्यक्ति के बीच कोई फर्क नहीं। इससे कोई फर्क नहीं पड़ता कि आप कौन सी भाषा बोलते हैं या आप किस नागरिकता के हैं। यह महत्वपूर्ण नहीं कि आप गुलाम हैं या आज़ाद हैं। अब मसीह ने हम सभी को अपने आप में एक कर दिया है।
12 परमेश्वर आपसे प्यार करता है। उसने आप को चुना और आपको पवित्र बनाया। इसलिए अपने अन्दर के इंसान को परमेश्वर का नया स्वभाव पहनाएं। दया दिखाएं और अच्छे काम करें। एक दूसरे के साथ घमंड से व्यवहार न करें, दयालु बनें और धीरज रखें।
13 कमज़ोरियों के बावजूद एक दूसरे को स्वीकार करें। अगर आपके पास शिकायत का कोई कारण हैं तो एक दूसरे को माफ़ करें जैसे मसीह ने आप को माफ़ किया।
14 लेकिन सबसे महत्वपूर्ण यह है कि अपने अन्दर के इंसान को प्यार से भरें। प्यार जोड़ता है और पूर्णता लाता है।
15 परमेश्वर की शान्ति आपके दिलों को भर दे और आपको सही फैसले लेने में मदद करे। आप मसीह के एक शरीर के अंग बन गए। इसलिए आपको शान्ति से रहना चाहिए और आपस में मित्रता से रहना चाहिए।
16 जो मसीह ने कहा उसे ध्यान से पढ़ें। तब उसके वचन आप के अंदर रहेंगे और यह आपको बुद्धिमान बनाएगा। भजन संहिता से प्रशंसा के गीत सीखें जिन्हें राजा दाऊद ने लिखा था। स्तुति के गीत गाकर एक दूसरे को उत्साहित करें। एक दूसरे को नए गीतों से उत्साहित करें जो पवित्र आत्मा आपको देती है। यह समझने के लिए हर संभव प्रयास करें कि परमेश्वर का अनुग्रह क्या है और तब आपके दिल प्रभु के लिए गाएंगे।
17 आप प्रभु यीशु मसीह को दर्शाते हैं। इसलिए उसके नाम में बोलें और उसके प्रतिनिधियों की तरह काम करें। मसीह के द्वारा पिता के पास आएं और उसका धन्यवाद करें।
18 हे पत्नियों, आपको अपने पति की बात माननी चाहिए। जो प्रभु में हैं उन्हें ऐसा ही व्यवहार करना चाहिए।
19 हे पतियों, आपको अपनी पत्नी से प्यार करना चाहिए और उनका अपमान नहीं करना चाहिए।
20 हे बच्चों, आपको हर बात में अपने माता-पिता की आज्ञा माननी चाहिए क्योंकि इससे प्रभु आनंदित होता है।
21 हे पिताओं, आपको अपने बच्चों के साथ झगड़ा नहीं करना चाहिए, नहीं तो, आपके बच्चे अपने आप को आपसे दूर कर लेंगे।
22 हे दासों, आपको हर बात में अपने सांसारिक स्वामियों की आज्ञा माननी चाहिए। उन्हें हमेशा खुश रखना चाहिए, न कि सिर्फ़ तब जब वे आपको देख रहे हैं। गहरी श्रद्धा के साथ परमेश्वर के साथ व्यवहार करें और अपने स्वामियों की सच्चे दिल से सेवा करें।
23 जो आप करते हैं उससे प्यार करें। पूरी लगन से काम करें जैसे कि आप प्रभु के लिए काम कर रहे हैं, न कि लोगों के लिए।
24 आपको यह जानना चाहिए कि आप मसीह की सेवा करते हैं जो आपका प्रभु है। प्रभु आपको इनाम देगा और आपको विरासत मिलेगी।
25 लेकिन अगर आप बुराई करते हैं तो बुराई आपके पास लौट आएगी। परमेश्वर सभी लोगों से न्याय से बर्ताव करता है।
अध्याय 4
1 हे स्वामियों, आपको अपने दासों के साथ निष्पक्ष और ईमानदार रहना चाहिए। याद रखें कि आपके ऊपर भी एक प्रभु है जो स्वर्ग में है।
2 नियमित रूप से प्रार्थना के लिए अपना समय समर्पित करें। आभारी दिल से प्रार्थना करें और प्रार्थना करते समय आपका मन इधर उधर भटकने न पाए।
3 मैं बन्दी बना क्योंकि मैंने प्रभु के बारे में प्रचार किया। इसलिए हमारे लिए भी प्रार्थना करें ताकि परमेश्वर हमारे लिए अपने वचन का प्रचार करने के लिए दरवाजे खोल दे। तब हम दूसरों को मसीह के रहस्य के बारे में बता सकेंगे।
4 मेरे बारे में प्रार्थना करें क्योंकि मुझे मसीह के रहस्य को साफ़ शब्दों में समझाना है।
5 अविश्वासियों के साथ बुद्धिमानी से काम करें। उनके साथ उपयोगी बातों में समय बिताएं।
6 अगर अविश्वासी मसीह के अनुग्रह को समझेगा तो वह अपने सवालों के जवाब पाएगा। जैसे आप अपने खाने में नमक मिलाते हैं वैसे ही अपने शब्दों में अनुग्रह मिलाएं।
7 मैंने हमारे प्रिय भाई तुखिकुस को आपके पास भेजा जो विश्वासयोग्यता से सेवा करता है और प्रभु के लिए काम करता है। और वह आपको मेरे बारे में सब कुछ बता देगा।
8 जो कुछ आप के साथ हो रहा है, वह भी आप उसे बताएंगे और वह आपके दिलों को शान्त कर देगा।
9 तुखिकुस भाई उनेसिमुस के साथ आपके पास आएगा जो आपके अपने लोगों में से एक है। हमारा प्रिय भाई उनेसिमुस विश्वासयोग्यता से प्रभु की सेवा करता है। तुखिकुस और उनेसिमुस हमारे साथ जो कुछ हो रहा है उसके बारे में आपको सब कुछ बताएंगे।
10 अरिस्तर्खुस मेरे साथ कैदी बन गया और वह आप को नमस्कार भेज रहा है। मरकुस जो बरनबास का भतीजा है, आपको नमस्कार कर रहा है। और अगर मरकुस आपके पास आए तो आप उसे ज़रूर स्वीकार करें।
11 यीशु, जिसे सभी यूस्तुस कहते हैं, आपको नमस्कार भेज रहा है। केवल ये ही यहूदी हैं जो मेरे साथ परमेश्वर के राज्य के लिए काम करते हैं। और वे मुझे बहुत आनन्द देते हैं।
12 इपफ्रास आपके अपने लोगों में से एक है। वह यीशु मसीह का सेवक है और वह भी आपको नमस्कार कर रहा है। वह हमेशा आपके लिए बहुत प्रार्थना करता है। वह परमेश्वर से आपको परिपक्व बनाने के लिए प्रार्थना करता है। वह प्रार्थना करता है कि आप अच्छे से समझें कि परमेश्वर क्या करना चाहता है।
13 मैं आपको विश्वास दिलाता हूँ कि इपफ्रास बड़े जोश में है। वह आपके लिए और उन लोगों के लिए काम करता है जो लौदीकिया और हिरापुलिस में रहते हैं।
14 हमारे प्रिय डॉक्टर लूका और देमास आपको नमस्कार कर रहे हैं।
15 लौदीकिया में रहनेवाले भाइयों को नमस्कार भेजें। नुमफास और उसके घर में इकट्ठा होने वाले चर्च को भी नमस्कार करें।
16 इस पत्र को अपने चर्च में पढ़ें और फिर आपको इसे लौदीकिया चर्च में भेजना होगा। मैंने लौदीकिया चर्च को भी एक पत्र लिखा था जिसे आपको भी अपने चर्च में ज़रूर पढ़ना हैं।
17 मेरी बातों को अर्खिप्पुस तक पहुँचाएं, “सावधान रहें, उस सेवकाई को पूरा करें जो आप को प्रभु से मिली है।”
18 मैं, पौलुस, आपको नमस्कार करता हूँ और अपने हाथ से इस पत्र पर हस्ताक्षर करता हूँ। याद रखें कि मैं जेल की जंजीरों में हूँ। प्रभु के अनुग्रह में जीवन बिताएं। आमीन।